Pages

Tuesday, 29 October 2019

कश्मीर में यूरोप के 27 सांसदों के जाने पर

विपक्षी पार्टी कांग्रेस और सीपीएम ने कहा है कि भारतीय नेताओं और सांसदों पर कश्मीर जाने को लेकर सरकार ने पाबंदी लगा रखी है और विदेशी सांसदों को जाने दे रही है.





https://www.bbc.com/hindi/india-50211981


अगर सरकार कहती है कि सब कुछ ठीक है तो पर्यटन के लिए कश्मीर को खोल दिया गया है, लेकिन वहां न तो राजनेता जा सकते हैं न ही मीडियावाले. इस तरह की पाबंदियां होंगी तो साफ़ ज़ाहिर है कि कुछ तो समस्या है.






सरकार एक ख़ास किस्म के लोगों की आवाजाही बंद करना चाहती है. मेरा ख़याल है कि ऐसा नहीं होना चाहिए ताकि कश्मीर की जो सच्चाई है वो बाहर निकल सके.




सुप्रीम कोर्ट ने पूछा, कश्मीर में पाबंदियां कब तक रहेंगी


Thursday, 24 October 2019

नोटबंधी ओर कश्मीर....फेकु बंधुसे पुछें....???

समिति के समक्ष अपनी बात रखते हुए शिक्षाविद और लेखिका निताशा कौल ने भारत के दावों पर सवाल उठाते हुए कहा, "यहां मूल सवाल लोगों की मर्ज़ी का है. अगर कोई क़दम लोगों के कल्याण और विकास के लिए उठाया गया है तो फिर दसियों हज़ार सैनिकों को बुलाने की ज़रूरत क्यों पड़ी?"

निताशा ने कहा, "क्यों ये फ़ैसला लोगों की कोई भी राय लिए बिना अचानक किया गया, यहां तक की भारत समर्थक नेताओं तक को जेल में डाल दिया गया. जनता को राय ज़ाहिर करने के अधिकार से पूरी तरह वंचित कर दिया गया, अगर ये उनके भले के लिए हैं तो फिर उनमें से किसी को इस बारे में कुछ भी बोलने क्यों नहीं दिया जा रहा है?

https://www.bbc.com/hindi/international-50161106

अमरीकी कांग्रेस का सवाल : कश्मीर को लेकर कैसे करें भारत पर भरोसा





छह रोज़ पहले जो ग्लोबल हंगर इंडेक्स सामने आया उसमें शामिल 117 देशों में पाकिस्तान का नंबर अब 94 है. मगर हमारे लिए दुख यह नहीं कि बांग्लादेश 88वें नंबर पर है बल्कि ख़ुशी की बात यह है कि भारत हमसे भी नीचे यानी 102 नंबर पर है.
यही भारत अच्छे दिन आने से पहले 2010 के ग्लोबल हंगर इंडेक्स में 95वें नंबर पर था. आज फ़ूड कॉर्पोरेशन ऑफ़ इंडिया कह रही है कि हमारे गोदामों में अब और अनाज रखने की जगह नहीं बची.

भारत-पाकिस्तान में गल्ले भरे पड़े हैं लेकिन फिर भी भुखमरी? - वुसअत का ब्लॉग



भारत-पाकिस्तान: देर भले हो गई है मगर अंधेर नहीं: वुसत की डायरी





गुगल को पुछीए...
नोटबंधी ओर कश्मीर....फेकु बंधुसे पुछें....???





Monday, 14 October 2019

Turkey-Syria offensive: Kurds reach deal with Syrian army

Turkey-Syria offensive: Kurds reach deal with Syrian army






Turkey Syria offensive: Will Islamic State re-emerge?

https://www.bbc.com/news/world-middle-east-49998940



Turkey-Syria offensive: 'Hundreds' of IS relatives escape camp

अयोध्या मामलाः अंतिम चरण में सुनवाई, सात बड़े सवाल

अयोध्या मामलाः अंतिम चरण में सुनवाई, सात बड़े सवाल



अयोध्या मामले में सुप्रीम कोर्ट में जारी सुनवाई इस हफ़्ते अपने अंतिम चरण में प्रवेश कर रही है.
मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अध्यक्षता वाली पाँच न्यायाधीशों की एक संविधान पीठ 6 अगस्त से लगातार इस मामले की सुनवाई कर रही है.
17 अक्तूबर को सुवाई पूरी हो जाएगी. ऐसी संभावना है कि इसके लगभग एक महीने बाद इस मामले में कोई महत्वपूर्ण फ़ैसला आ सकता है.
आइए समझते हैं कि पूरा मामला क्या है और कैसे ये मामला देश की सर्वोच्च अदालत में पहुंचा.



अयोध्या ज़मीन विवाद क्या है?
ये विवाद उत्तर प्रदेश के अयोध्या ज़िले में ज़मीन के एक टुकड़े से संबंधित है.
हिंदुओं की धारणा के अनुसार ये हिंदू देवता राम का जन्मस्थान है. मगर इसी टुकड़े पर बाबरी मस्जिद भी मौजूद है.
मामले में ये तय किया जाना है कि क्या पहले वहाँ कोई हिंदू मंदिर था जिसे तोड़कर या संरचना बदल कर उसे मस्जिद का रूप दिया गया था.
छह दिसम्बर 1992 के बाबरी मस्जिद को ढहा दिया गया था. इसके बाद ज़मीन पर स्वामित्व विवाद से संबंधित एक मामला इलाहाबाद हाईकोर्ट में दायर किया गया.
इस मामले में हाईकोर्ट की तीन सदस्यीय बेंच ने 30 सितम्बर 2010 को 2.77 एकड़ की ज़मीन पर अपना फैसला सुनाया.